अगर तुम न होते
(भाग 10)
लगातार दो दिन तक तीनों प्रोजेक्ट पर बात होती रही और थोड़ी सी फेरबदल के बाद अनुज और जिया का प्रोजेक्ट फाइनल कर दिया गया इस प्रोजेक्ट को लॉन्च करने के लिए और आवश्यक संसाधन उपलब्ध कराने के मुद्दे पर आगे की चर्चा के लिए तीनों शाखाओं के प्रतिभागियों को रोक लिया गया और दो दिन इस पर गहन अध्ययन चलता रहा।
चार दिनों से लगातार काम के दबाव से सभी मानसिक रूप से थकावट महसूस करने लगे हैं इस पर कंपनी ने एक दिन का अवकाश दिया और अगले दिन फाइनल प्रोजेक्ट रिपोर्ट मिलने की सम्भावना रखी।
“यह एक दिन आप आराम कर सकते हैं या आप हैदराबाद के दार्शनिक स्थलों का लुफ्त उठा सकते हैं यह आपके ऊपर है कि आप किस तरह अपने आप को सहज महसूस कर सकते हैं आप फ्री हैं जैसे चाहे वैसा अपना दिन बिताएं, कम्पनी से आपको सारी सुविधाएँ उपलब्ध कराई जायेगी,”… प्रोजेक्ट आफिसर ने कहा।
इस उद्घोषणा पर सभी ने सामूहिक रूप से ताली बजाई और अपने आप को हल्का महसूस किया।
अनुज जिया ने डिनर किया और कल हैदराबाद की शैर के लिए कह कर अपने अपने रूम में आराम करने चले गए।
जिया को अपने प्रेजेंटेशन की ही बातें याद आती रही और वह बहुत देर तक जागती रही उसे महसूस हो रहा था कि अनुज भी शायद यही सब सोच रहे होंगे।
दूसरे दिन नाश्ते के बाद दोनों कंपनी की गाड़ी से हैदराबाद घुम्ने निकले।
हैदराबाद मुहम्मद कुली कुतुब शाह द्वारा स्थापित ऐतिहासिक शहर है जिसे दो भागों में विभाजित किया जा सकता है यह शहर मुसी नदी के दक्षिणी किनारे पर स्थित है जो पुराने शहर का निर्माण करता है, जबकि नया शहर उत्तरी तट पर शहरी क्षेत्र है।
पुराना शहर छोटी-छोटी गलियों का शहर है जो चारमीनार से बाहर की ओर फैलती है। अधिकांश ऐतिहासिक आकर्षण पुराने शहर में स्थित हैं। हैदराबाद बिरयानी और चारमीनार के लिए ज्यादा प्रसिद्ध है।
बहुत देर तक जिया हैदराबाद के वैभव को देखती रही, हालांकि अनुज अक्सर काम के सिलसिले में हैदराबाद आता रहा है लेकिन वह कभी भी इस तरह हैदराबाद को देखने और हैदराबाद को महसूस करने नहीं निकला, लेकिन आज तो जिया के साथ से उसका भी हैदराबाद को देखने का नजरिया ही बदल गया और आज खूबसूरती के साथ प्रसन्नता का अनुभव हो रहा है, आसमान में हल्के बादल छाए हैं, हल्की मखमली धूप बिखरी हुई है, चारों तरफ सड़क की रंग बिरंगी गलियाँ दुकानों से सजी बेहद खूबसूरत लग रही है।
“जिया, हैदराबाद दक्षिण भारत में उभरता हुआ औद्योगिक केंद्र है। यहां पर वास्तुकला, इतिहास और कलाप्रेमियों के लिए बहुत कुछ है। यहाँ मक्का मस्जिद भारत की सबसे बड़ी मस्जिद है।”… अनुज बोला।
“सही कहा सर, वैसे भी यहां उड़िया समुदाय द्वारा निर्मित मंदिर श्री जगन्नाथ मंदिर है।
“वाह आपको भी हैदराबाद के बारे में बहुत सारी जानकारियाँ हैं,”… अनुज बोला।
“ऐसी बात नहीं है सर, आते समय मां ने कहा था कि समय मिले तो जगन्नाथ मंदिर जरूर हो आना।”…जिया ने कहा।
“बिल्कुल चलेंगे, यहाँ बिड़ला मंदिर भी पूरे वर्ष तीर्थयात्रियों के दर्शन के केन्द्र रहता है, रामकृष्ण मिशन के स्वामी रंगनाथनंद द्वारा निर्मित यह बिड़ला मंदिर भगवान विष्णु को समर्पित है। शुद्ध सफेद संगमरमर से निर्मित, जो लगभग दो सौ अस्सी फीट ऊंची पहाड़ी पर बना है, राजस्थानी और उत्कल वास्तुकला का चित्रण यहां देखने को मिलता है। यहां ऐसे भव्य मंदिर और भी है जिसमें शिव, शक्ति, गणेश, हनुमान और ब्रह्मा के साथ भगवान वेंकटेश्वर के मंदिर भी हैं।
“सच बात है सर, हर शहर की खूबसूरती में चार चांद लगाने के लिए हमारे यह भव्य मंदिर ही आकर्षण का केंद्र होते हैं और शायद इन्हीं मंदिरों की वजह से शहर मशहूर हो जाता है,”…
“हां मुझे लगता है यही बात सही है, पर पहले यह तो बताओ कहां चले… अनुज ने पूछा।
क्रमश:..